Why should one get up in Brahm Muhoorat (stroke of dawn)?
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ब्राह्म मुहूर्तमें क्यों उठना चाहिए ? रात्रिके अन्तिम प्रहरका जो
तीसरा भाग है, अर्थात सूर्योदयसे ७२ मिनट पहलेके कालको उसको ब्राह्ममुहूर्त
कहते हैं। शास्त्रोंमें यही समय निद्रा त्यागके लिए उचित बताया गया ह…ै।
मनुस्मृति अनुसार ब्राह्मे मुहूर्ते या निद्रा सा पुण्यक्षयकारिणी।
प्रातःकालकी निद्रा पुण्यों एवं सत्कर्मोंका नाश करने वाली है। वर्ण कीर्ति
यशः लक्ष्मीः स्वास्थ्यमायुश्च विन्दति। ब्राह्मे मुहूर्ते संजाग्रच्छियं
वा पंकजं यथा।। – (भैषज्य सारः 63)
ब्राह्ममुहूर्तमें उठनेवाला पुरूष सौन्दर्य, लक्ष्मी, स्वास्थ्य, आयु
आदि वस्तुओंको प्राप्त करता है। उसका शरीर कमलके समान सुन्दर हो जाता है। •
Why should one get up in Brahm Muhoorat (stroke of dawn)? The last
quarter of the night, the third part, meaning 72 minutes before sunrise
is known as Braahm Muhoorat.
Scriptures refer to this time as the most appropriate to discard
Nidra (sleep). According to Manusmruti; ब्राह्मे मुहूर्ते या निद्रा सा
पुण्यक्षयकारिणी Braahme muhoorte ya nidra sa pushakshaykaarini Early
morning sleep is the destroyer of Punya (virtue) and Satkarma (good
deeds).
वर्ण कीर्ति यशः लक्ष्मीः स्वास्थ्यमायुश्च विन्दति। ब्राह्मे मुहूर्ते संजाग्रच्छियं वा पंकजं यथा।। – (भैषज्य सारः 63)
Varna keerti yashah Lakshmih swasthyamayusch vindati Braahm
muhoorte sanjaagrachhiyam va pankajam yatha – Bhaishajya Saar: 63 A man
who gets up in Braahm Muhoorat acquires virtues such as beauty, Lakshmi
(wealth), health, longevity etc. His body becomes as charming as the
lotus.
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